रिपोर्ट-त्रिपुरारी यादव
वाराणसी रोहनिया-किसान दिवस के अवसर पर शाहंशाहपुर स्थित भा.कृ.अनु.प.-भारतीय सब्जी अनुसंधान संस्थान में बुधवार को संस्थान के तत्वाधान में स्टेट बैंक ऑफ इण्डिया के सहयोग से किसान दिवस का आयोजन किया गया। इस अवसर में मुख्य अतिथि डॉ. पंजाब सिंह ने कहा कि यह कार्यक्रम किसानों को बैंक एवं संस्थान से जोड़ने का एक सशक्त माध्यम है। उन्होने कहा आज देश में विभिन्न खाद्यान्न फसलों, फलों एवं सब्जियों के उत्पादन की समस्या नहीं है परन्तु किसानों को आर्थिक रूप से सशक्त करने की आवश्यकता है। इसके लिये उन्होने कृषि विविधीकरण, मूल्यसंवर्धन एवं खुले बाजार की उपलब्धता, कृषि उत्पादों को क्षति से बचाने के लिये शीत गृहों (प्रशीतकों) की सुविधा विकसित करने की बात बतायी। उन्होने कहा कि किसानों को इच्छा शक्ति दिखाने की आवश्यकता है जिससे कृषि को व्यवसाय एवं उद्यम का रूप दिया जा सके और सरकार की योजनाओं का लाभ लेते हुये वह अपनी आय दुगुनी कर सके।इस कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि आलोक कुमार सिन्हा (प्रबंधक), स्टेट बैंक ऑफ इण्डिया, लखनऊ ने कहा कि स्टेट बैंक अपनी स्थापना के समय से लेकर आज तक अनवरत रूप से किसानों को वित्तीय सहायता प्रदान करता रहा है। उन्होने कहा कि किसानों को किसान उत्पादन संगठन बनाना चाहिये जिससे उन्हें बैंक द्वारा आसानी से आर्थिक सहायता प्रदान की जा सके।डॉ. जगदीश सिंह, निदेशक, भा.कृ.अनु.प.-भारतीय सब्जी अनुसंधान संस्थान, वाराणसी ने कहा कि कोविड-19 के दौर में कृषि एक सफल लाभकारी उद्यम के रूप में उभरा है। उन्होने कहा कि सब्जियों द्वारा कृषि का विविधीकरण केवल गेहूँ धान की खेती से अधिक लाभदायी होता है। सोनभद्र के किसानों द्वारा बनाये गये मूल्य सवंर्धित उत्पादों से अवगत कराते हुये कहा कि किसानों को वित्तीय सहायता हेतु सरकारी योजनाओं एवं बैंकों की सहायता लेना चाहिये। डॉ. सिंह ने सरकार द्वारा लाये गये कृषि कानूनों के लाभों से किसानों एवं किसान उत्पादन संगठन के निदेशकों एवं प्रबंधकों को अवगत कराया। उत्तर प्रदेश में किसान उत्पादन संगठनों की वर्तमान स्थिति की चर्चा करते हुये, संरक्षित दशा में सब्जी उत्पादन, मूल्य सवंर्धन एवं प्रसंस्करण इकाई की आधारभूत संरचना की स्थापना हेतु सरकारी एवं बैंकीय वित्तीय सहायता प्राप्त करने की दशा व दिशा पर विस्तृत परिचर्चा किया।हिमांशु शेखर (उप-क्षेत्रीय प्रबंधक), हर्षवर्धन सिंह (क्षेत्रीय प्रबंधक) तथा अभिषेक सिंह यादव (शाखा प्रबंधक) स्टेट बैंक ऑफ इण्डिया, वाराणसी ने भी बैंक द्वारा किसानों के लिये चलायी जा रही योजनाओं को वाद-संवाद के माध्यम से बताया।इस अवसर पर मिर्जापुर, सोनभद्र, वाराणसी, गाजीपुर, चन्दौली एवं पन्ना (मध्य प्रदेश) के किसान एवं किसान उत्पादक संगठनों के निदेशक, प्रबंधक एवं संस्थान के विभागाध्यक्ष और अन्य वैज्ञानिकगण उपस्थित रहे।
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