चन्दौली डीडीयू नगर। संस्कृति संजीवनी सेवा संस्थान के तत्वावधान में स्थानीय लाट नं. एक स्थित श्री पंचमुखी विश्वकर्मा मंदिर प्रांगण मे आयोजित संगीतमयी सप्त दिवसीय श्रीमद् भागवत कथा ज्ञान यज्ञ कथा वाचक श्रीमद् भागवत व श्री मानस मर्मज्ञ अखिलानन्द जी महाराज द्वारा दीप प्रज्वलित कर किया गया। तत्पश्चात पंच पूजन व ब्यास पीठ पूज संपन्न हुआ। मंगलवार को प्रथम दिवस की कथा मे अखिलानन्द जी ने श्रीमद् भागवत के महात्म्य की चर्चा की। उन्होंने सिया राम मै सब जग जानी करहुं प्रणाम जोरि जुग पानी दोहे से अपनी वाणी को प्रारंभ करते हुए कहा जीव मात्र को श्रीमद् भागवत का श्रवण अवश्य करनी चाहिए। जीव के इस भव से तारण होने का एक मात्र साधन श्रीमद् भागवत है। उन्होने कहा कि भागवत् हमें जीवन के सार बताता है जीने की शैली रहन सहन सहित धर्म का ज्ञान कराता है।मनुष्य के भगवान की भक्ति करने से भव सागर को पार किया जा सकता है। भक्ति मार्ग भगवान की शरण में जाने का सबसे सरल मार्ग है। किसी को धन चाहिए तो किसी को बल और पद चाहिए लेकिन ब्यक्ति को चाहिए कि हमारा धर्म मार्ग बिगडना नही चाहिए। जहां हमें बुद्धि की आवश्यकता है उससे कहीं बढकर शुद्धि की आवश्यकता है। मौके पर संतोष शर्मा, कन्हैयाला जायसवाल, दिनेश सिंह, अतुल दूबे यज्ञ नारायण सिंह पी एन सिंह, भैयालाल पाठक आलोक पांडेय संतोष, पाठक, विनीता अग्रहरी, मिथिलेश मिश्रा, रेखा अग्रवाल, निलम सिन्हा आदि सहित सैकड़ों भक्त मौजूद रहे। यजमान के रूप मे सपत्निक छोटे लाल जायसवाल, संजय अग्रवाल रहे।
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